Text Practice Mode
mp high court legal matter 1 380 word
created Mar 23rd 2022, 03:54 by Amit Vishwakarma
2
381 words
42 completed
5
Rating visible after 3 or more votes
00:00
अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्ता द्वारा अवलंब लिए गए आदेशों का परिशीलन करने और मामले के तथ्यों और स्थितियों को ध्यान में रखते हुए न्यायालय का यह मत है कि इस न्यायालय द्वारा व्यक्त की गई विधिक स्थिति के आधार पर अपीलार्थियों को प्रतिरक्षा के अभिवाक् से संबंधित किसी भी लाभ से वंचित नहीं किया जा सकता। इस मामले में ऐसा कोई साक्ष्य नहीं है जिससे यह उपदर्शित हो कि अपीलार्थी बृज लाल और सह-अभियुक्त काशी राम पर वास्तव में हमला किया गया था और इस संबंध में भी कोई साक्ष्य नहीं है कि यह एक प्रतिरक्षा का मामला है जिसमें उन्होंने अपनी पिस्तौलों से जनसमूह पर गोलियां चलाई। न्यायालय ने ऊपर उल्लेखित मामले के पहलू से संबंधित सुसंगत साक्ष्य का परिशीलन पहले की कर लिया है। अत: न्यायालय को अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्ता द्वारा दी गई पहलाी दलील में कोई सार दिखाई नहीं देता है। अपीलार्थी के विद्वान अधिवक्ता बृजलाल का अभिकथित आशस राम लाल की हत्या करना था। यह दलील दी गई है कि इस बात का कोई करण नहीं है कि अपीलार्थी गोली चलाकर तीन अज्ञात व्यक्तियों को घातक क्षति पहुंचाए। विद्वान अधिवक्ता द्वारा दी गई दूसरी दलील भी आधारहीन है जिसमें हमें कोई सार दिखाई नहीं देता है। समीपस्थ निवासियों और ग्रामवासियों का घटनास्थल पर एकत्र होने का कारण राम लाल को अभियुक्तों के हमले से बचाना था। ग्रामवासियों के क्रोधित होने के परिणामस्वरूप अभियुक्तों ने जनसमूह पर अंधाधुंध गोलियां चलाई। चूंकि इस पर अपीलार्थी बृज लाल द्वारा विवाद नहीं किया गया है कि अन्य क्षतियों के साथ घातक क्षतियां अपीलार्थी और सह-अभियुक्त द्वारा कारित की गई थीं, इसलिए अपीलार्थी पर उनके कृत्य को न्यायोचित ठहराने के लिए साबित करने का भार है। अभियोजन पक्ष द्वारा प्रस्तुत किए गए साक्ष्य से यह दर्शित होता है कि अभियुक्तों ने एकत्र हुए जनसमूह से क्रोधित होकर अंधाधुध गोलियां चलाई थीं क्योंकि वे लोग राम लाल को क्षति पहुंचाने से रोक रहे थे। इस बात को स्वीकार करके कि अपीलार्थी और सह-अभियुक्त ने समीपस्थ निवासियों और ग्रामवासियों पर जो घटनास्थल पर एकत्र हुए थे, वास्तव में गोलियां चलाई थीं, इस तथ्य को असत्य नहीं कहा जा सकता। उपरोक्त कारणों के आधार पर, हमें इस दलील में कोई सार दिखाई नहीं देता है। अत: यह अपील सारहीन होने के कारण निरस्त किये जाने योग्य है। यह अपील निरस्त की जाती है।
saving score / loading statistics ...